आगरा, 21 जून 2025 —
आठ दशक की उम्र पार कर चुकीं आगरा की सत्यवती गुप्ता न सिर्फ उम्र को मात दे रही हैं, बल्कि समाज को निरोग बनाने का भी मिशन चला रही हैं। उनके जीवन की कहानी किसी प्रेरणादायक फिल्म से कम नहीं। दो बेटे और एक बेटी, तीनों ही IAS अधिकारी हैं, और वहीं सत्यवती खुद पिछले 25 वर्षों से लोगों को योग के माध्यम से स्वस्थ जीवन जीने की राह दिखा रही हैं।
सत्यवती देवी ने साल 2000 में इंदौर में बाबा रामदेव के योग शिविर में सात दिन का प्रशिक्षण लिया था। इसके बाद उन्होंने ठान लिया कि योग सिर्फ उनके जीवन का हिस्सा नहीं रहेगा, बल्कि समाज को भी इसकी शक्ति से जोड़ेंगी। तब से लेकर आज तक वे लगातार हर सुबह 6 से 8 बजे तक आगरा की विजय नगर कॉलोनी स्थित राधा कृष्ण मंदिर की धर्मशाला में योग कक्षाएं लेती हैं। बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक – हर वर्ग के लोग उनके पास योग सीखने आते हैं।
उनकी 6 अलग-अलग शाखाएं आगरा शहर में सक्रिय हैं, जहां सैकड़ों लोग रोजाना योग का अभ्यास करते हैं। सत्यवती सिर्फ शरीर को स्वस्थ रखने तक सीमित नहीं रहीं, उन्होंने खुश रहने की संस्कृति भी अपने प्रशिक्षण में शामिल की। उनके सेंटरों पर नियमित रूप से जन्मदिन, सालगिरह जैसे छोटे आयोजनों के माध्यम से लोगों को मानसिक रूप से प्रसन्न और तनावमुक्त रखा जाता है।
सत्यवती गुप्ता का मंत्र है – “हम स्वस्थ हैं, वेरी व्यस्त हैं, इसीलिए मस्त हैं!”। आज जब लोग बढ़ती उम्र में खुद को सीमित कर लेते हैं, सत्यवती न सिर्फ सक्रिय जीवन जी रही हैं, बल्कि अगली पीढ़ियों को भी स्वास्थ्य, अनुशासन और सकारात्मक जीवनशैली का पाठ पढ़ा रही हैं।